नवलगढ़ का प्रधानमंत्री मालदेव जो मोहित हो उठा शिगोरा कबीले के सरदार की बेटी रुकमा पर और कर लिया उससे विवाह। विवाह के बाद रुकमा ने मालदेव को जताई अपनी नवलगढ़ की महारानी बनने की इच्छा तब रुकमा पर मोहित मालदेव बन बैठा देशद्रोही और नवलगढ़ का राज्य हथियाने के लिए चलने लगा चालें। धोखे से उसने राजकुमार धवलसिंह को विष दे कर दिया अँधा और शिगोरा कबीले की मदद से नवलगढ़ पर धावा बोल कर लिया राज्य पर कब्ज़ा। राजकुमार इस हमले से बचने के लिए निकल भागा। इधर मालदेव के राजा बनने से पहले ही नवलगढ़ की कुलदेवी ने उसके माथे पर लिख दिया, "मैं देशद्रोही हूँ"। और फिर..........?
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