नागराज, आसाम से बुलडाग का खात्मा करने के बाद जुर्म और आतंकवाद को ख़त्म करने निकल पड़ा और जा पहुंचा हांगकांग जहाँ पर कब्ज़ा कर रखा था साबाटो और चांगो नाम के बागियों ने और उनसे बचकर भागी-भागी फिर रही राजकुमारी ताकाशी के साथ मिलकर नागराज ने की एक और जंग की शुरुआत। और फिर......................?
दो जुड़वाँ भाई सोनाराम और कोयलाराम, दोनों दिखने में इतने मिलते-जुलते थे की अक्सर लोग धोखा खा जाते। कोयलाराम बहुत मेहनती और खुश था और सोनाराम बहुत आलसी और दुखी था इस वजह से सोनाराम हमेशा उदास रहता इसलिए उसने अपनी किस्मत बदलने के लिए अपने भाई से अपना नाम बदल लिया। पर किस्मत के मारे सोनाराम को तब भी कोई लाभ नहीं हुआ। और फिर.................?
बहादुर और नेकदिल खलील खान एक दिन अपनी एक मुर्गी का पीछा करते हुए जा टकराए गुलाब की राजकुमारी से जो एक जादूगर के जादू से गुलाब बनी हुयी थी उसको ठीक करने के लिए माहरवाड़ी का तिलिस्म तोड़ते हुए और कई खतरों का सामना करते हुए खलील खान ने प्राप्त कर लिया सोने का घड़ा। सोने का घड़ा लेकर वो वापस चला गुलाब की राजकुमारी के पास तब उसका रास्ता रोकने आया जादूगर भांगड़ा। और फिर....................?
विलासनगर में रहने वाले दो मित्र श्रीधर और यशधर, विलासनगर में महामारी फैलने के बाद दुसरे शहर में काम की तलाश में निकले और रास्ते में दोनों एक वर्ष बाद दोबारा मिलने का वादा कर अलग-अलग रास्ते हो गए। श्रीधर को मिल गया एक पारस पत्थर उसको लेकर वो एक धूर्त बुढ़िया और उसकी बेटी के जाल में फंस गया। दूसरी तरफ यशधर जा पहुंचा राजगढ़ के राजमहल और बन बैठा महाराज का अंगरक्षक। एक साल बाद जब यशधर वापस पहुंचा उस स्थान जहा अलग हुआ था वो अपने मित्र से तो उसे वहां न पाकर लग गया उसकी तलाश में। और फिर............?
"नागराज" प्रोफ़ेसर नागमणि का अविष्कार, बाबा गोरखनाथ के आशीर्वाद से निकल पड़ा दुनिया से जुर्म और आतंकवाद को ख़त्म करने और जा टकराया कुख्यात अपराधी बुलडाग से। पर बुलडाग ने बना दी "नागराज की कब्र", नागराज भी बच निकला बुलडाग की बनाई कब्र से और जा पहुंचा बुलडाग के पास उसके एक-एक जुर्म का बदला लेने। और फिर.....................?
किरतपुर गाँव का पिद्दी पहलवान, बेहद ताकतवर और अकलमंद एक दिन निकल पड़ा देश भ्रमण पर अपने दो चेलों लटकन और फुदकन के साथ और आ पहुंचा नवाबों के शहर लखनऊ। पर वहां उनका सामना हो गया लखनऊ के ठगों से। पर उन्होंने भी ठगों को सबक सिखाने की ठान ली और शुरू हो गयी पिद्दी पहलवान और उसके चेलों की चालबाजी। और फिर................?
पंडित मंगाराम के दो बेटे सीधा-सदा और मेहनती चंगाराम तथा होशियार और सुस्त गंगाराम एक दिन अपने नाना-नानी, मामा-मामी का हालचाल जानने अपने ननिहाल श्यामपुर चल पड़े। रास्ते में रात बिताने के लिए पंडित मुर्खानंद के घर रुक गए। पंडित मुर्खानंद ने उनको मुर्ख बनाकर धन ऐंठने की सोची और चंगाराम को फांस लिया अपने जाल में तब उसकी मदद को गंगाराम आ गया मैंदान में। और फिर..................?
खलील खान, एक नेक और बहादुर इंसान जो अपने गाँव में मुर्गियां और फख्तायें पाला करता था एक दिन अपनी एक मुर्गी का पीछा करते हुए जा पहुंचे एक जंगल में जहाँ एक गुलाब के फूल के अन्दर मिली गुलाबगढ़ की राजकुमारी जो अपने से शादी करने के ख्वाहिशमंद जादूगर भांगड़ा के जादू से गुलाब के बदल गयी थी। राजकुमारी को ठीक करने के लिए चाहिए था एक सोने का घड़ा जो रखा था माहरवाड़ी के तिलिस्म में। और खलील खान चल पड़े तिलिस्म में से सोने का घड़ा लाने। और फिर...............?
रूमानिया के बादशाह आज़ाद बख्त के दरबार में आया एक सौदागर खुदाबक्श जिसके पास था एक अद्भुत कुत्ता जिसको वो चाहता था अपनी जान से भी ज्यादा और कुत्ते को पहनाता था कीमती पत्थरों का पट्टा। उस कुत्ते का राज़ जानने के लिए मल्लिका ने बादशाह को उकसाया परन्तु इससे पहले की वो राज़ जानते खुदाबक्श वापस चला गया। उस विचित्र सौदागर को ढूंढ़ कर वापस लाने की ज़िम्मेदारी ली वजीर की बेटी शबनम ने और निकल पड़ी उसकी तलाश में। और फिर.................?
बेलापुर गाँव के दो भाई ननकू और सनकू जो थे तो बहुत समझदार पर उनको थी एक बीमारी कि दोनों भाइयों को शाम को सूरज ढलने के बाद कुछ भी दिखाई नहीं देता था। यह बात दोनों सबसे छिपा कर रखते थे। रोज़ शाम सूरज ढलने से पहले वो अपना काम ख़त्म कर घर पहुँच जाते। पूरा गाँव उनकी इस आदत से बाते बनाता ऐसे में दोनों भाई अपने लिए लड़की देखने पास के गाँव में गए तो हो गयी शाम और उनको कुछ भी दिखना हो गया बंद। और फिर............?
"नागराज" जिसे प्रोफ़ेसर नागमणि ने बनाया था दुनिया में आतंक फ़ैलाने के लिए लेकिन बाबा गोरखनाथ ने नागराज को सच्चाई के रास्ते में लाकर जुर्म और आतंकवाद के खिलाफ खड़ा कर दिया। और नागराज चल पड़ा मानवता के दुश्मनों का खात्मा करने। और सबसे से पहले उसी बुलडाग को नेस्तोनाबूद करने जा पहुंचा जिसने उसे आतंकवाद फ़ैलाने के लिए सबसे पहले ख़रीदा था। और नागराज की इस जंग में उसका साथ दिया रोमो नाम के ऐसे जाबांज ने जो खुद कभी बुलडाग के लिए काम किया करता था। दोनों जा पहुंचे बुलडाग के किले पर उसे ख़त्म करने। और फिर................................?
हिंदुस्तान के मशहूर वैज्ञानिक डॉ.मंगलम का कुछ अज्ञात लोगों ने कर लिया अपहरण। पुलिस जब पाता नहीं लगा सकी डॉ.मंगलम का तो उन्होंने मदद ली प्राइवेट जासूस मोंटो की। और मोंटो अपनी सेकेट्री लिली के साथ अपराधियों का सुराग लगता हुआ जा पहुंचा तिब्बतियों के एक ख़ूनी कारवां तक। और फिर............?
हरिपुर गाँव का किशन भूपाल सिंह और उसकी पत्नी वसुंधरा जिनका पुत्र अंगद अत्यंत बलशाली था। इतना ताकतवर की अच्छे-अच्छों को दांतों तले उँगलियाँ दबाने पर मजबूर कर दे। उसको पता चला अपने तीन भाइयों और एक बड़ी बहन के बारे में जिसको वर्षों पहले एक राक्षस सूखादेव उठा ले गया था। अपने भाइयों और बहन का पता लगाने के लिए अंगद निकल पड़ा, उसको साथी के रूप में मिले तीन अद्भुत शक्तियों के मालिक पहाड़ हिलाऊ, पेड़ उखाड़ और नदी रोक। उनके साथ मिलकर अंगद निकल पड़ा राक्षस सूखादेव की तलाश में। और फिर..............?
प्रोफ़ेसर नागमणि जिसने दुनिया भर के आतंकवादियों और जुर्म की दुनिया के सरगनाओं को अपने बनाये एक नए हथियार की नीलामी के लिए बुलाया। एक ऐसा हथियार जो अकेला पूरी दुनिया को हिला कर रख सकता था। और वो हथियार था "नागराज" नाम का एक ऐसा मानव-नाग जिसके पास थी असीमित नाग शक्तियां। उस नीलामी में नागराज को सबसे पहले किराये पर लिया आसाम में अपनी जुर्म की बादशाहत चला रहे माफिया डोन बुलडाग ने और वो नागराज को लेकर जा पहुंचा आसाम में तबाही मचाने। और फिर ......................?
चंपानगरी का सबसे छोटा राजकुमार अजब सिंह जो बहुत ही निकम्मा था अपने पिता राजा उग्रसेन की डांट-फटकार सुन राजमहल छोड़कर चला गया। उसको मिल गयी एक परी जिसने उसको दिया एक अद्भुत रुई का घोडा जो हवा में उड़ सकता था। उस घोड़े की मदद से राजकुमार ने जीत लिया राजकुमारी चन्द्रिका का स्वयंवर परन्तु दुर्भाग्य से अजब सिंह बिछड़ गया अपनी पत्नी और बच्चे से। उधर राजा उग्रसेन के महामंत्री ने भी बगावत कर हड़प ली राजगद्दी। और फिर.......................?
डॉ वाडेकर जिसके द्वारा बनाये गए अद्भुत काले शैतान ने टोरी गाँव में ऐसी तबाही मचाई की वहां हाहाकार मच गया। काला शैतान करने लगा लोगों को गायब। इन लोगों के साथ ही गायब हो गयी सुपर मानव गगन की मुंह बोली बहन रजनी। और गगन और ताहिरा निकल पड़े काले शैतान और लोगो के गायब होने के रहस्य का पाता लगाने। और फिर................?
चन्द्रपुरी का राजकुमार अभयसिंह जिसने अपने चालाक और मक्कार मंत्रियों के बहकावे में आकर अपने पिता राजा चंद्रदेव को मार डाला। परन्तु खुद उन मक्कार मंत्रियों के धोखे का शिकार होकर अपनी जान बचा कर भाग निकला और जा पहुंचा राक्षसी बनी राजकुमारी स्नेहलता की पास। राक्षसी स्नेहलता को ठीक करने के लिए ज़रूरत थी लाल वृक्ष की जड़ की। और राजकुमार अभयसिंह निकल पड़ा लाल वृक्ष की जड़ की तलाश में। और फिर................?
चित्रपुर का दुष्ट राजा दुर्जन सिंह जो अपने राज्य के नागरिकों पर करता था बेइन्तेहाँ ज़ुल्म। इस ज़ुल्म का शिकार बना बेचारा जीवनदास पर तभी हुयी एक भविष्यवाणी की दुर्जन सिंह की मृत्यु होगी इसी जीवनदास के पुत्र के हाथों। इससे घबराकर राजा दुर्जन सिंह ने जीवनदास के नवजात पुत्र को फिकवा दिया नदी में और दुसरे पुत्र को जीवनदास की पत्नी लेकर भाग निकली। परन्तु जीवनदास के पुत्र को बचा लिया ऋषि राजनाथ ने और उसको बड़ा कर बनाया अपने खिलाफ हुए अत्याचार का बदला लेने लायक। पर उसके लिए जीवनदास के पुत्र शिव सिंह को चाहिए था जादुई शीशा जो मिल सकता था अद्भुत सोने की नदी को पर करने पर। और शिव सिंह चल पड़ा जादुई शीशा प्राप्त करने। और फिर................?
पांचाली गाँव, जहाँ के जंगल में बने एक दलदल से अचानक आ निकला एक दैत्य और मचा दिया पांचाली गाँव में कोहराम और गायब कर दिया गाँव के सभी निवासियों को, दैत्य को रोकने आई सेना भी हो गयी रहस्यमय ढंग से गायब। तब इस दैत्य के रहस्य का पता लगाने आया विनाशदूत पर उसको भी गायब कर दिया उस रहस्यमय दैत्य ने। और फिर...........?
आयाराम और गयाराम गाँव के रहने वाले निहायत ही मुर्ख, इनकी मुर्खता से पूरा गाँव परेशान रहता था। अपनी मुर्खता के चलते खुद तो परेशानी में पड़ते ही दुसरो को भी मुश्किलों में डाल देते। इन दोनों मूर्खों को मिल गए एक साधू महात्मा। उन्होंने भी दोनों को ठीक करने की ठानी। और फिर...................?
वज्र गृह का अंतिम प्राणी विनाशदूत जब पृथ्वी पर आया तो उसको अपने साथ मिलाने के लिए सभी अच्छे-बुरे संगठन कोशिश में लग गए पर विनाशदूत ने साथ दिया अच्छाई का। दुनिया का सबसे खतरनाक संगठन रेड स्टार के लिए थी ये एक खतरे की बात इसलिए वो मिटा देना चाहते थे विनाशदूत को, इसके लिए रेड स्टार ने चली चाल और दे दी भारत सरकार को धमकी विनाशदूत को उनके हवाले करने की, और विनाशदूत भी निकल पड़ा रेड स्टार को नेस्तोनाबूद करने। और फिर.........................?
खतरनाक अपराधी टोमागो जिसकी ख्वाहिश थी दुनिया का सबसे शक्तिशाली वैज्ञानिक बनकर दुनिया को अपने कदमो के झुकाने की जिसके लिए उसको चाहिए थी प्रोफ़ेसर किशनलाल की मदद इसके लिए उसने करवा लिया प्रोफ़ेसर किशनलाल और उसकी बेटी रजनी का अपहरण। इस काम में टोमागो की राह का रोड़ा बना सुपर मानव 'गगन' जिसको शुक्र गृह के प्राणी बचपन में पृथ्वी से उठा ले गए थे अपने गृह और उस पर कई परिक्षण कर गगन को दे दी थी कई अद्भुत शक्तियां। और वापस पृथ्वी पर आकर खतरनाक टोमागो से टकरा गया गगन। और फिर............?
चन्दन नगर के राजमहल का पहरेदार सुस्तराम, अपने नाम की तरह बेहद सुस्त और आलसी। चन्दन नगर के राजाकुंवर सिंह ने भी सुस्तराम का भाग्य बदलने की कोशिश की पर अपने आलसीपने के कारण हर बार भाग्य उससे दूर भागता। तब उसके मित्र फुरतराम ने ठानी सुस्तराम को चुस्तराम बनाने की। और फिर......................?
पृथ्वी पर गिरने वाली थी एक उल्का जो असल में था वज्र गृह का एक टूटा हुआ हिस्सा जिसमे था वज्र गृह का विनाश होने के बाद अंतिम बचा प्राणी 'विनाशदूत'। इस विनाशदूत का इंतज़ार था भारतीय वैज्ञानिक प्रोफ़ेसर सोम को और विनाशदूत पर ही कब्ज़ा करने के फ़िराक में था विश्व का सबसे खतरनाक संगठन 'रेड स्टार'। अब शुरू हुयी मुहीम विनाशदूत को हासिल करने की। और फिर....................?
ठाकुर वीर सिंह जिसकी हवेली एक रात अचानक बन गयी खुनी हवेली और उस हवेली में होने लगी एक एक कर उसकी और उसके बेटों की रहस्यमय हत्याएं। इन हत्याओं ने सभी को घुमा कर रख दिया। अब बचा था केवल ठाकुर वीर सिंह का चौथा बेटा गिरिराज और उसकी जान बचाने के लिए बुलाया गया प्राइवेट डिटेक्टिव विशाल को। और फिर................?
गाँव का एक भोला भाला किसान लालू फंस गया ठगों के चक्कर में और गँवा बैठा अपनी बकरी। लेकिन उसकी चालाक पत्नी भागवंती ने भी ठान ली उन ठगों को सबक सिखाने की। इस वजह से पूरी ठगों की बस्ती पड़ गयी भागवंती और लालू के पीछे। और फिर................?
प्रियनगरी का राजा प्रियदत्त जिसको थी चिंता अपनी बेटी राजकुमारी कंचनबाला के विवाह की. परन्तु कंचनबाला की थी एक शर्त की वो सिर्फ उसी के साथ विवाह करेगी जिसने 'कनकपुरी' देखी हुयी हो. कई लोगो ने किया कनकपुरी को ढूंढने का प्रयास परन्तु कोई भी न पा सका कनकपुरी का पता और फिर प्रियनगरी का एक नौजवान रत्नभूषण निकल पड़ा कनकपुरी का रहस्य जानने. और फिर.........................?